अमेरिका से आई एक अच्छी खबर, रॉकेट बन गए भारत के डिफेंस शेयर, खरीदने की मची लूट

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DEFENCE STOCKS: डिफेंस कंपनी कोचीन शिपयार्ड के शेयरों में गुरुवार, 5 जून को 13% तक की उछाल आई। कंपनी के शेयर में लगातार तीसरे दिन बढ़त जारी रही। Varsha Pathak लाइव हिन्दुस्तानThu, 5 June


2025 04:30 PM Share Follow Us on __ DEFENCE STOCKS: ऑपरेशन सिंदूर के बाद डिफेंस कंपनी के शेयर लगातार फोकस में हैं। आज गुरुवार, 5 जून को एक बार फिर डिफेंस सेक्टर के शेयरों में भारी तेजी देखी


गई। डिफेंस कंपनी कोचीन शिपयार्ड के शेयरों में 13% तक की तेजी दर्ज की गई। कंपनी के शेयर में लगातार तीसरे दिन बढ़त देखी गई। पिछले तीन कारोबारी सेशंस में इस शेयर में 20% की तेजी आई है। कोचीन


शिपयार्ड के अलावा, आज डेटा पैटर्न, हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स, मिधानी जैसे डिफेंस से जुड़े अन्य कंपनियों के शेयरों में भी 3% से 6% तक की अच्छी तेजी देखी गई। शेयरों में तेजी की वजह डिफेंस सेक्टर


में तेजी के पीछे अमेरिका से संबंधित एक खबर है। दरअसल, अमेरिकी डिफेंस सेक्रेटरी पीट हेगसेथ द्वारा राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के नाटो मेंबर्स से अपने रक्षा खर्च में जबरदस्त बढ़ोतरी करने की मांग


को दोबारा उठाया गया है। हेग में आगामी नाटो शिखर सम्मेलन से पहले बोलते हुए हेगसेथ ने कहा कि सहयोगियों को ट्रंप की पिछली मांग पर "गंभीरता से विचार" करना चाहिए कि प्रत्येक सदस्य को


रक्षा पर सकल घरेलू उत्पाद का 5% निवेश करना चाहिए, जो कि वर्तमान नाटो दिशानिर्देश 2% से डबल है। बता दें कि ट्रंप ने पहले नाटो सहयोगियों की अपनी वित्तीय प्रतिबद्धताओं को पूरा न करने के लिए


आलोचना की थी और कहा था कि उभरते वैश्विक खतरों को देखते हुए 2% का लक्ष्य अपर्याप्त है। जवाब में, नाटो महासचिव मार्क रूटे ने पुष्टि की कि गठबंधन पहले से ही अपने खर्च लक्ष्यों में पर्याप्त


बदलाव पर विचार कर रहा है। ये भी पढ़ें:ओला के मालिक को गिरवी रखना पड़ा शेयर, ₹50 से नीचे आया भाव, जानिए मामला ये भी पढ़ें:ट्रंप के 50% टैरिफ ऐलान से भारत में बढ़ेगी महंगाई? जाएंगी नौकरियां!


चेतावनी रूटे ने प्रस्ताव दिया है कि सदस्य देश अपने रक्षा खर्च को सकल घरेलू उत्पाद के 3.5% तक बढ़ाएं, साथ ही व्यापक सुरक्षा-संबंधी निवेशों के लिए अतिरिक्त 1.5% प्रतिबद्धता करें। इसमें साइबर


रक्षा, इंफ्रा संरक्षण और हाइब्रिड खतरों का मुकाबला करना शामिल हो सकता है। रूटे ने कहा, "यह नई रक्षा निवेश योजना नाटो शिखर सम्मेलन में चर्चा के केंद्र में होगी।" उन्होंने अधिक


अस्थिर अंतरराष्ट्रीय परिदृश्य में अधिक सामूहिक तत्परता और बोझ-साझाकरण की आवश्यकता पर बल दिया। यूरोपीय देशों द्वारा अपनी रक्षा क्षमताओं को बढ़ाने के लिए बड़े पैमाने पर खर्च बढ़ाने की घोषणा के


बाद रक्षा शेयरों ने निचले स्तर से वापसी शुरू कर दी थी।